कलेक्टर लगाए मास्क लेकिन अधीनस्थों ने उड़ाई धज्जियां
बीआरसी कार्यालय पलेरा में बिना मास्क रहे अधिकारी कर्मचारी
पलेरा। कोरोना की घातकता को देखते हुए शासन प्रशासन ने कुछ कड़े नियम बनाये जिनका पालन कड़ाई से कराया जा रहा है। जिले का राजा कहलाने बाले जिला कलेक्टर सुभाष द्विवेदी ने भी इन नियमो का पालन करते हुए जनता के सामने एक उदाहरण पेश किया। लेकिन हर बार की तरह लगता है कि ये नियम भी तोड़ने की कसम खाये बैठे अधिकारी कर्मचारी ध्वजारोहण के समय मास्क से दूरी बनाए हुए दिखाई दिए। जबकि प्रशासन द्वारा मास्क लगाने के लिए जनता पर इस कदर दबाबे बनाया गया है कि बिना लगाए ब्यक्ति का 100 रुपये का चालान तक किया जा रहा। अब सोचने बाली बात ये है कि क्या प्रशासन निष्पक्षता बरतते हुए बीआरसी कार्यालय पलेरा के कर्मचारियों पर भी जुर्माना करेगी???
आज स्वतंत्रता दिवस के उपलक्ष्य में सम्पूर्ण जिले में शान से ध्वजारोहण किया गया। इसी तारतम्य में जब बीआरसी कार्यालय में कार्यरत सभी कर्मचारियों ने ध्वजारोहण किया तो कोरोना गाइडलाइन कि धज्जियाँ उड़ाते हुए किसी ने भी मास्क नही लगाया। बीआरसी पलेरा के कर्मचारियों द्वारा किये गए इस कार्य का जनता में क्या सन्देश जाएगा???
शासन प्रशासन द्वारा तमाम तरह के प्रयास किए जा रहे हैं कि जनता मुंह पर मास्क लगाएं क्योंकि डब्लूएचओ के अनुसार हवा में भी कोरोना वायरस का संक्रमण फैला हुआ है लेकिन डब्लूएचओ के निर्देश को झुठलाते हुए बीआरसी में पदस्थ कर्मचारियो का कहना है कि हवा में कोई कोरोनावायरस नहीं है इसलिए हम लोग मुंह पर मास्क नहीं लगाएंगे। लगता है कि सिर्फ आम आदमी के लिए सारे नियम कायदे कानून बनाए जाते हैं यदि वह मुंह पर मास्क नहीं लगाते हैं तो उन पर चालानी कार्यवाही की जाती है । बीआरसी पलेरा के कर्मचारियों की बात सुनकर लगता है कि यह बीमारी सिर्फ आम आदमी को होती है ना कि कर्मचारियों को।
अब देखना है कि इसमें वरिष्ठ अधिकारी इन लोगों पर क्या कार्यवाही करते हैं???
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